बवासीर के लिए तुथी पत्ता का उपयोग और लाभ - Thuthi Leaf for Piles in Hindi
आमतौर पर कब्ज़ की समस्या होने से पाइल्स होता है, जिसे हम ‘बवासीर’ के नाम से भी जानते है। बवासीर एक ऐसी बीमारी है, जो ऑपरेशन करने के बाद भी १०० प्रतिशत ठीक हो जाए इसकी गारंटी नहीं दी जा सकती। इसके कई कारण हो सकते हैं।
तो आइए विस्तार से जानते हैं तुथी की पत्तियां बवासीर के इलाज में कितनी लाभदायक हैं।
क्या है बवासीर?
बवासीर या पाइल्स एक ऐसी बीमारी है, जिसमें पीड़ित व्यक्ति के गुदा के अंदर और बाहरी हिस्से में सूजन आ जाती है। जिसके कारण से गुदा के अंदरूनी या बाहरी हिस्से में मस्सा बन जाता है। बवासीर के अधिक बढ़ने से इसमें खून निकलने के साथ ही तेज़ जलन भी होने लगती है। इसके अलावा, मल त्याग के दौरान ज़्यादा जोर लगाने पर ये मस्सा गुदा के बाहर आ जाता है, जिसकी वजह से पीड़ित व्यक्ति को चलते-बैठते समय दर्द और जलन का सामना करना पड़ता है।
बवासीर के उपचार
वर्तमान में बवासीर पर कई तरह के इलाज उपलब्ध हैं जिसमे सर्जरी, लेज़र ऑपेरशन, आयुर्वेद और होमियोपेथी आदि शामिल हैं। वहीं, आयुर्वेद में पाइल्स का इलाज मरीज को लंबे समय के लिए राहत और लाभ के लिया जाना जाता है। ये पाइल्स से होने वाला दर्द व जलन घटाने में काफी असरदार है। तुथी के पत्ते कब्ज़ का इलाज करने में सहायक होता है, जो बवासीर का प्राथमिक कारण होता है।
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क्या हैं तुथी के पत्ते?
तुथी के पौधों को अतिबाला के नाम से भी जाना जाता है और इसके पत्ते दिल के आकार के, नुकीले सिरे के होते हैं। इसके छोटे पीले फूल होते है। पौधे की ऊंचाई २ मीटर तक होती है और ये एक बारहमाही झाड़ी है। माना जाता है कि तुथी के पत्तों में भारी औषधीय गुण होते हैं। हमारे पूर्वज इसके पत्तों के औषधीय महत्व को जानते थे इसीलिए वे तुथी के पत्तों का सेवन करते थे।
तुथी का पौधा मुख्य रूप से समुद्र के किनारे पाया जाता है। ये २९ विभिन्न किस्मों का होता है, जिनमें से ‘पनियारा तुथी’ सबसे अधिक इस्तेमाल किया जाता है। ये पौधा भारत के अलावा श्रीलंका, अमेरिका और मलेशिया में भी पाया जाता है।
बवासीर के लिए तुथी का पत्ता कितना लाभ दायक है?
बवासीर के लिए तुथी के पत्ते काफी लाभकारी उपाय साबित हो सकते हैं। आयुर्वेद के अनुसार, तुथी एक औषधीय पौधा है, जो बवासीर और फिस्टुला जैसे बीमारी के इलाज में मदद करता है। इसके अलावा, तुथी के पौधे का अर्क रेचक (लैक्सटिव) है और इसलिए कब्ज़ की समस्या वाले लोगों के लिए बहुत लाभदायक माना जाता है।
बवासीर के लिए तुथी के पत्ते का उपयोग कैसे करें?
तुथी के पत्तों का इस्तेमाल कर बवासीर से निजात पाया जा सकता है। तुथी के पत्तों को इस्तेमाल करने की मुख्य विधियां कुछ इस प्रकार हैं:-
विधि १:
तुथी के २ से ३ पत्ते लें और उसमें थोड़ा सा पानी मिलाकर पेस्ट बना ले और इस पेस्ट को छाछ में मिला लें। इस मिश्रण को २ – ३ दिनों तक खाली पेट सेवन करें। ये बवासीर के कारण होने वाले दर्द को कम करने में मदद करता है और इसके साथ-साथ रक्तस्राव को भी कम करता है।
विधि २:
तुथी के पत्तों को अरंडी के तेल में गर्म करके प्रभावित जगह पर लगाएं जहां सूजन या सूजन हो। ये पाइल्स के कारण होने वाले दर्द और सूजन से राहत दिलाएगा।
विधि ३:
गुदा क्षेत्र में जलन का इलाज करने और कब्ज़ को ठीक करने के लिए तुथी के पत्तों को थोड़े से पानी में उबालें और दूध और ब्राउन शुगर मिलाकर इसका सेवन करे।
बवासीर को जन्म देने वाले कब्ज़ की रोकथाम कैसे करे
कब्ज़ की समस्या को रोकने के लिए निम्नलिखित बातें आपकी मदद कर सकते है:
- उच्च फाइबर वाले खाद्य पदार्थों का खूब सेवन करें
- रोजाना खूब पानी पिएं
- नियमित रूप से व्यायाम करें
- जरूरत पड़ने पर अपनी आंतों को खाली करें। इसके लिए कोशिश करें कि मल त्याग को ज्यादा देर तक रोककर न रखें
- लंबे समय तक शौचालय पर बैठने से बचें
- तुथी के पत्तों का सेवन करें
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Updated on : 13 October 2022
समीक्षक
Dr. Aman Priya Khanna
MBBS, DNB General Surgery, Fellowship in Minimal Access Surgery, FIAGES
12 Years Experience
Dr Aman Priya Khanna is a well-known General Surgeon, Proctologist and Bariatric Surgeon currently associated with HealthFort Clinic, Health First Multispecialty Clinic in Delhi. He has 12 years of experience in General Surgery and worke...View More
लेखक
She has extensive experience in content and regulatory writing with reputed organisations like Sun Pharmaceuticals and Innodata. Skilled in SEO and passionate about creating informative and engaging medical conten...View More
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